सोमवार, 6 फ़रवरी 2012

हिंदी के महान साहित्यकार सुभाष चन्द्र कुशवाहा के कार्यालय में भ्रष्टाचार नहीं होता ?

ऐसे महान साहित्यकार को लोकसंघर्ष का शत् !-शत् ! नमन ?

हिंदी के महान साहित्यकार श्री सुभाष चन्द्र कुशवाहा बाराबंकी जनपद में सहायक संभागीय परिवहन अधिकारी (ए.आर.टी.ओ ) के पद पर कार्यरत हैं। ए.आर.टी.ओ कार्यालय में कोई भी दलाल नहीं है। गाडी स्वामी सीधे जाते हैं और उनके कार्य नियमानुसार हो जाते हैं ? विभाग में किसी गाडी स्वामी का उत्पीडन नहीं होता है ? ड्राइविंग लाइसेंस बगैर किसी रिश्वत दिए बन जाते हैं। अंतर्गत धारा 207 एम.बी एक्ट के तहत कागज होने पर लागू नहीं किया जाता है ?
श्री कुशवाहा साहब के बाराबंकी में ए.आर.टी.ओ पद पर तैनाती के बाद उनके कार्यालय के कर्मचारियों ने रिश्वत खानी बंद कर दी है ? श्री कुशवाहा साहब भी रिश्वत नहीं खाते हैं ? लखनऊ में साधारण मकान में आप निवास करते हैं लेकिन जनपद स्तर के अधिकारी होने के नाते वह कभी मुख्यालय नहीं छोड़ते हैं ? आम आदमी की तरह श्री कुशवाहा साहब अपनी तनख्वाह में जीने के आदी हैं ? श्री कुशवाहा साहब सत्तारूढ़ दल की रैलियों के लिये कभी वाहन पकड़ कर रैली में जाने के लिये बाध्य नहीं किया है ? इस तरह से हिंदी के वरिष्ठ साहित्यकार अन्य साहित्यकारों के लिये प्रेरणा स्रोत्र हैं और हर हिंदी के साहित्यकार को उनसे प्रेरणा लें, यदि उपरोक्त नियम-उपनियम के विरुद्ध कार्य कर रहे हों या कभी-कभी रिश्वत खा रहे हों तो बंद कर देना चाहिए ?
अगर आपको मेरी बात पर विश्वास हो तो बाराबंकी जनपद कर ऐसे ऐतिहासिक महापुरुष का दर्शन करें तथा कार्यालय में उक्त बिन्दुओं पर ध्यान देकर अन्य सरकारी कार्यालयों में उसको लागू करवाने की नसीहत ले सके

सुमन
लो क सं घ र्ष !

9 टिप्‍पणियां:

drishtipat ने कहा…

सुमन साहब आपने हर बात पर प्रश्न चिन्ह का प्रयोग किया, वेरी नाइस, सचमुच में आज की तारीख में ऐसे आदमी के लिए लोग प्रश्न की दृष्टि से दृष्टिपात करेंगे, लेकिन देश चलता हुआ दिख रहा है तो निश्चित रूप से ऐसे प्रेरक व्यक्ति के कारण ही.
www.drishtipat.com

arun kumar jha ने कहा…

सुमन साहब आपने हर बात पर प्रश्न चिन्ह का प्रयोग किया, वेरी नाइस, सचमुच में आज की तारीख में ऐसे आदमी के लिए लोग प्रश्न की दृष्टि से दृष्टिपात करेंगे, लेकिन देश चलता हुआ दिख रहा है तो निश्चित रूप से ऐसे प्रेरक व्यक्ति के कारण ही.

केवल राम ने कहा…
इस टिप्पणी को लेखक द्वारा हटा दिया गया है.
श्यामल सुमन ने कहा…

Aise vyakti aur vyaktitva ko mera salam

चंदन ने कहा…

मन कर्म और वचन से सदा एक से रहने वाले ऐसे हि चरित्रवान लोगों से देश और समाज को उम्मीदें हैं...उन्हें शत शत नमन!

आर्यावर्त डेस्क ने कहा…

http://www.liveaaryaavart.com/

राजीव तनेजा ने कहा…

'?' का चिन्ह तो किसी दूसरी तरफ ही इंगित करता है

shoaib ने कहा…

aise aitihasik vyakti ko rakhwa dijiye museum mein itihaas ki dharohar bana kar

प्यार की स्टोरी हिंदी में ने कहा…

Bahut Achhi Rachna Ka Varnan Aapke Dwara. Padhe Love Stories, Hindi Poems, प्यार की स्टोरी हिंदी में aur bhi bahut kuch.

Thank You.

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