रविवार, 21 अप्रैल 2013

कौन कहता है बलात्कार करना जुर्म है ?

मनोरमा के बलात्कार के बाद मणिपुरी महिलाओं द्वारा भारतीय सेना के सामने किये गये असहाय  प्रदर्शन का चित्र जो मैंने कल  शेयर किया था फेसबुक ने अभी अभी मुझे एक जबरन सूचना भेज कर उसे हटा दिया है . 
मैं जानता हूं भारतीय सेना को अपनी लूट के लिये भारतीय जनता के विरुद्ध अपने गुंडों की तरह इस्तेमाल करने वाला वर्ग इस तरह के सत्य के उजागर होने से घबरा जाता है . उन्ही लोगों के प्रयासों से फेसबुक ने यह कार्यवाही करी है . 
लेकिन हम इस देश की गरीब जनता , महिलाओं . दलितों और अल्पसंख्यकों के ऊपर राजकीय सैन्य दमन का विरोध करते रहेंगे .
मैं इस चित्र को फिर से पोस्ट कर रहा हूं . मनोरमा को अभी तक न्याय नहीं मिला है . उसके कपड़ों पर सैनिकों के वीर्य के धब्बे पाए गये थे . आज तक उस मामले में एक भी व्यक्ति को सज़ा नहीं हुई है .
यदि आपको लगता है कि देश के दूर दराज़ के लोगों पर होने वाले अत्याचारों के खिलाफ भी हमें आवाज़ उठानी चाहिये तो आप सब भी इस चित्र को पोस्ट करें .
 

मणिपुर में मनोरमा को भारतीय सेना के जवान उठा कर ले गये और बलात्कार करने के बाद उसकी जननांग में गोलियाँ दाग दीं ,मनोरमा के बलात्कारियों को बचाने के लिये भारत सरकार आज भी मुकदमा लड़ रही है . इसके विरोध में उसकी सहेली इरोम शर्मिला बारह साल से अनशन पर है .

उड़ीसा की आदिवासी लड़की आरती मांझी को सुरक्षा बलों ने घर में घुस कर उठा लिया , आरती के साथ महीना भर थाने में बलात्कार किया और उसके बाद उसे भी जेल में डाल दिया . आवाज उठाने वाले दंडपानी महन्ती के बेटे को पुलिस ने जेल में डाल दिया . आरती अभी भी जेल में है .सरकार बलात्कारियों को बचाने के लिये मुकदमा लड़ रही है .

छत्तीसगढ़ की आदिवासी शिक्षिका सोनी सोरी को पुलिस अधिकारियों के खिलाफ कोर्ट में जाने की सजा के तौर पर पकड कर थाने ले जाकर उसे बिजली का करेंट लगाया गया और उसके गुप्तांगों में पत्थर भर दिये , अस्पताल के डाक्टरों ने पत्थर के टुकड़े निकाल कर सर्वोच्च न्यायालय को भेज दिये . उसके बाद भी सरकार पुलिस वालों को बचाने के लिये मुकदमा लड़ रही है . सोनी सोरी अभी भी जेल में है .
कौन कहता है बलात्कार करना जुर्म है ? आप सरकार की तरफ से अमीरों के लिये बलात्कार करिये . आपको सरकार अपने खर्च पर बचायेगी .और यही समाज आप पर फक्र करेगा . आपको बहादुरी के तमगे देगा .

बस आपको यह पता होना चाहिये कि इस देश में आपको किसकी तरफ रहना है और किसकी तरफ नहीं .आप मुसलमानों दलितों ईसाईयों या आदिवासि
मनोरमा के बलात्कार के बाद मणिपुरी महिलाओं द्वारा भारतीय सेना के सामने किये गये असहाय प्रदर्शन का चित्र जो मैंने कल शेयर किया था फेसबुक ने अभी अभी मुझे एक जबरन सूचना भेज कर उसे हटा दिया है .
मैं जानता हूं भारतीय सेना को अपनी लूट के लिये भारतीय जनता के विरुद्ध अपने गुंडों की तरह इस्तेमाल करने वाला वर्ग इस तरह के सत्य के उजागर होने से घबरा जाता है . उन्ही लोगों के प्रयासों से फेसबुक ने यह कार्यवाही करी है .
लेकिन हम इस देश की गरीब जनता , महिलाओं . दलितों और अल्पसंख्यकों के ऊपर राजकीय सैन्य दमन का विरोध करते रहेंगे .
मैं इस चित्र को फिर से पोस्ट कर रहा हूं . मनोरमा को अभी तक न्याय नहीं मिला है . उसके कपड़ों पर सैनिकों के वीर्य के धब्बे पाए गये थे . आज तक उस मामले में एक भी व्यक्ति को सज़ा नहीं हुई है .
यदि आपको लगता है कि देश के दूर दराज़ के लोगों पर होने वाले अत्याचारों के खिलाफ भी हमें आवाज़ उठानी चाहिये तो आप सब भी इस चित्र को पोस्ट करें .
-हिमांशु कुमार 

3 टिप्‍पणियां:

राजन ने कहा…
इस टिप्पणी को लेखक द्वारा हटा दिया गया है.
राजन ने कहा…

केवल कुछ ही वर्गों के लिए क्यों ?मुझे नहीं पता कि जिस बच्ची के साथ दिल्ली में बलात्कार हुआ है उसका धर्म उसकी जाति क्या है।बलात्कार या शोषण चाहे जिस महिला के साथ हो वह निंदनीय ही है और न्याय सबको मिलना चाहिए।कम से कम महिलाओं पर बात करते हुए तो अपनी विचारधारा और एजेंडे से हटकर सोचा कीजिए वर्ना आप भी उन नेताओं से अलग नहीं जो अपना मतलब निकालने में ही लगे रहते हैं चाहे इसके लिए किसीके साथ हुई ट्रेजडी को ही क्यों न भुनाना पडे।किसी महिला को उसकी जाति या धर्म की वजह से निशाना बनाया जाता है तो उस कारण का उल्लेख करना समझ में आता है लेकिन न्याय की माँग भी किसी एक वर्ग की महिलाओं के लिए करना दिखाता है कि आप यहाँ भी बस राजनीति कर रहे हैं।और ऐसे लोगों को प्रमोट करने का बीडा सुमन जी उठाए ही हुए हैं।

राजन ने कहा…

कभी कभी कृपया स्पैम इनबॉक्स भी चैक कर लिया करें।वहाँ एक टिप्पणी पड़ी होगी ।

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